जाओ संदेश समीर सहारे….

Spread the messageदुष्यन्त सिंह चौहानचित्रकार, कवि, फोटोग्राफ़र और बाईकर..देश प्रेम को दिल में लिए एक सिपाही।सब कुछ देखा, सब में डूँढा.. तेरा जैसा कोई नहीं माँ.. मैं हूँ पथिक, मार्ग की बाधा कंकड़ काँटों से परिचित हूँ,मंज़िल दूर बहुत है लेकिन मैं गतिशील और अविजित हूँ ..